छत्तीसगढ़

चिटफंड घोटाले में लगातार हो रही है कार्रवाई

रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने प्रदेश की जनता से किए गए अपने वायदे को निभाते हुए चिटफंड कंपनियों के विरुद्ध कड़ी कार्यवाही के निर्दश दिए हैं।
मुख्यमंत्री के निर्देश के बाद प्रदेश में अनियमित वित्तीय कंपनियों (चिटफंड कंपनियों) एवं उनके संचालकों के खिलाफ लगातार कार्रकाई की जा रही है जिसके फलस्वरुप पीड़ितों को उनका डूबा हुआ पैसा वापस मिल रहा है। अधिक ब्याज और जल्दी रकम दोगुनी करने के झांसे में आकर हजारों लोगों ने अपनी मेहनत की गाढ़ी कमाई गंवा दी थी।

अब उन निवेशकों के चेहरों पर मुस्कान लौट आई है क्योंकि ठगी करने वाली चिटफंड कंपनियों की संपत्तियों को कुर्क कर निवेशकों का डूबा हुआ पैसा वापस दिलाया जा रहा है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के नेतृत्व में नई सरकार के गठन पश्चात् सरकार ने चिटफंड कंपनियों के संचालन को राज्य में पूर्णतः प्रतिबंधित कर दिया गया है।

मुख्यमंत्री ने अलग-अलग स्थानों पर कार्यक्रम आयोजन के दौरान चिटफंड कंपनियों में निवेश करने वाले निवेशकों को राशि लौटाई है। देश में छत्तीसगढ़ ही एकमात्र राज्य है जो निवेशकों को उनका पैसा वापस दिला रहा है। चिटफंड कंपनियों की नीलामी से 33 करोड़ 44 लाख 77 हजार 743 रुपए की राशि निवेशकों को वापस लौटाई जा चुकी है।

चिटफंड के दर्ज प्रकरण की जानकारी
छत्तीसगढ़ में 209 अनियमित वित्तीय कंपनियों के विरुद्ध कुल 465 प्रकरण दर्ज किये गये हैं। 401 प्रकरणों में चालान तैयार कर माननीय न्यायालय में पेश किया जा चुका है। 06 प्रकरण में खात्मा और 03 प्रकरण में खारजी हुई है। 55 प्रकरण पुलिस में विवेचनाधीन है। दर्ज 465 प्रकरणों में कुल 690 डायरेक्टर्स व पदाधिकारियों की गिरफ्तारी की जा चुकी है। 64 प्रकरणों में 37 कंपनियों की सम्पत्तियों की नीलामी , वसूली , राजीनामा से 55 करोड़ 98 लाख 90 हजार 866 रुपये की राशि प्राप्त हुई है।

चिटफण्ड के संबंध में प्राप्त आवेदन पत्रों की स्थिति
जिला दण्डाधिकारी कार्यालयों में कुल 25 लाख 68 हजार 05 आवेदन पत्र जमा किये गये है। प्राप्त आवेदन पत्रों में से कुल 4 लाख 54 हजार 324 आवेदन पत्र निराकृत हो गए हैं, शेष 20 लाख 95 हजार 407 आवेदन पत्रों के निराकरण की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है।

पीड़ितों की धन वापसी की स्थिति
46 प्रकरणों में 38 कंपनियों से 33 करोड़ 44 लाख 77 हजार 743 रुपये की धनराशि निवेशकों को वितरित की गई है। 29 प्रकरणों में 21 कंपनियों से 22 करोड़ 54 लाख 13 हजार 123 रुपये की राशि सरकारी खाते में जमा है जिनके वितरण की कार्यवाही प्रक्रियाधीन है।

31 प्रकरणों में 17 कंपनियों की सम्पत्ति अनुमानित कीमत 24 करोड़ 82 लाख 30 हजार 233 रुपये की न्यायालय के अंतिम आदेश उपरांत नीलामी कार्यवाही कलेक्टर्स के पास प्रक्रियाधीन है। 95 प्रकरणों में कुल 80 करोड़ 81 लाख 21 हजार 99 रुपये की सम्पत्ति की कुर्की का अंतिम आदेश माननीय न्यायालय द्वारा जारी किया गया है। 137 प्रकरणों में चिन्हांकित सम्पत्ति जिसकी अनुमानित कीमत 678 करोड़ 68 लाख 63 हजार 423 रूपये है, जिसमें से राज्य के भीतर 116 करोड़ 63 लाख 95 हजार 262 रुपये तथा राज्य के बाहर 562 करोड़ 04 लाख 68 हजार 161 रुपये की अनुमानित कीमत की सम्पत्ति की कुर्की के अंतरिम आदेश हेतु कलेक्टर्स के पास प्रक्रियाधीन है।

इसी तरह से 51 प्रकरणों में चिन्हांकित सम्पत्ति जिसकी अनुमानित कीमत 138 करोड़ 95 लाख 68 हजार 986 रुपये है, जिसमें से राज्य के भीतर 107 करोड़ 99 लाख 31 हजार 586 रुपये तथा राज्य के बाहर 30 करोड़ 96 लाख 34 हजार 400 रुपये की अनुमानित कीमत की सम्पत्ति की कुर्की के अंतिम आदेश हेतु माननीय न्यायालय में प्रक्रियाधीन है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button