छत्तीसगढ़

उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने वाशिंगटन में सड़क और भवन निर्माण कार्यों को देखा

Deputy Chief Minister Arun Sau saw road and building construction works in Washington.

आर्किटेक्ट्स और इंजीनियरों से निर्माण स्थलों पर चर्चा कर प्रयुक्त सामग्री, धातु एवं मशीनरी की जानकारी ली

निर्माण श्रमिकों के स्वास्थ्य एवं सुरक्षा उपायों को भी जाना

विशेषज्ञों के साथ बैठक कर सड़क एवं भवन निर्माण की नई तकनीकों तथा निर्माण परियोजनाओं के विभिन्न चरणों का किया अध्ययन

रायपुर । अध्ययन प्रवास पर अमेरिका गए उप मुख्यमंत्री तथा लोक निर्माण मंत्री  अरुण साव ने शुक्रवार को वाशिंगटन में सड़क एवं भवन निर्माण स्थलों का दौरा कर कार्यों का अवलोकन किया। उन्होंने निर्माण स्थलों पर आर्किटेक्ट्स और इंजीनियरों से चर्चा कर निर्माण में प्रयुक्त होने वाली सामग्री, धातु (Metal) एवं मशीनरी की जानकारी ली। उन्होंने वहां विशेषज्ञों के साथ बैठक कर सड़क एवं भवन निर्माण की नई तकनीकों तथा निर्माण परियोजनाओं के विभिन्न चरणों का अध्ययन किया। लोक निर्माण विभाग के सचिव डॉ. कमलप्रीत सिंह भी इस दौरान उनके साथ थे।

उप मुख्यमंत्री साव ने वाशिंगटन में निर्माण कार्यों के विशेषज्ञों के साथ बैठक कर नई निर्माण तकनीकों तथा यू.एस.ए. (USA) में सड़क एवं भवन निर्माण परियोजनाओं की प्लानिंग से लेकर निर्माण तक चरणबद्ध रूप से उठाए जाने वाले कदमों की जानकारी ली। वहां बिम (BIM) कम्प्यूटर सिस्टम से भवन एवं अधोसंरचना का कम्प्यूटर में संपूर्ण डिज़ाइन तैयार किया जाता है जिससे न केवल उनके निर्माण में लगने वाली सामग्री (Material) एवं लागत का सटीक आंकलन होता है, बल्कि बाद में होने वाले मेन्टेनेन्स (Maintenance) के काम में भी मदद मिलती है।

साव ने कहा कि छत्तीसगढ़ में अच्छी गुणवत्ता की टिकाऊ सड़कों और भवनों के निर्माण के लिए अमेरिका में प्रचलित नई तकनीकों एवं उपायों का विस्तृत अध्ययन कर लोक निर्माण विभाग में लागू करने पर विचार किया जाएगा। उन्होंने वाशिंगटन में विशेषज्ञों से कार्यस्थलों पर निर्माण श्रमिकों के स्वास्थ्य एवं सुरक्षा उपायों की जानकारी ली। उन्होंने सड़कों के पास स्थित रिहायशी इलाकों को ध्वनि प्रदूषण से बचाने के लिए किए जाने उपायों का भी अध्ययन किया। यू.एस.ए. में सड़क निर्माण एवं भवन निर्माण परियोजनाओं में प्रारंभिक डीपीआर स्तर पर काफी विस्तृत अध्ययन किया जाता है, ताकि बाद में आने वाली समस्याओं एवं होने वाले विलंब व लागत में वृद्धि से बचा जा सके।

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