गर्मी ने बढ़ाई डेयरी उत्पाद की खपत, छाछ, लस्सी व दही आन डिमांड
Summer increases consumption of dairy products, buttermilk, lassi and curd on demand
बिलासपुर। गर्मी का असर बढ़ने के साथ बाजार में डेयरी उत्पादों की मांग अत्याधिक बढ़ गई है। ऐसे में दुग्ध संघ से लेकर विभिन्न कंपनियों के छाछ, लस्सी और श्रीखंड के साथ अन्य उत्पाद की सबसे ज्यादा मांग की जा रही है। शहर के जगह-जगह बनाए गए मिल्क पार्लर में सबसे ज्यादा मांग छाछ और लस्सी की है। आलम यह है कि इन मिल्क पार्लर में रोजाना छाछ खत्म हो जा रहे हैं। मांग के अनुरूप छाछ उपलब्ध नहीं हो पा रहा है। वहीं दूसरे दूध उत्पाद में लस्सी आनडिमांड बनी हुई है। इसके साथ अन्य कंपनियों के उत्पादों की बिक्री भी जोरों से हो रही है। गर्मियों में डेयरी प्रोडक्ट की मांग 20 से 25 प्रतिशत तक बढ़ गई है। मिल्क पार्लर संचालक बताते हैं कि दूध का व्यापार करने वाले ज्यादातर लोग दूध की मांग पूरी करने के साथ ही लस्सी, छाछ और श्रीखंड बनाने पर ज्यादा ध्यान दे रहे हैं। इसमें भी सबसे ज्यादा दही और छाछ बनाया जा रहा है। जहां लस्सी बाजार में लस्सी रेंज के हिसाब से 10 रुपये से लेकर 60 रुपये प्रति गिलास में बिक रही है और कंपनियों की लस्सी 15 से 30 रुपये तक में मिल रही है। इसी तरह छाछ बाजार में सात रुपये से 15 रुपये 200 एमएल प्रति पैकेट में मिल रहा है। मांग को देखते हुए ज्यादा से ज्यादा उत्पादन किया जा रहा है। इसके बाद भी मांग पूरी करने में दिक्क्तों का सामना करना पड़ रहा है। साफ है कि आने वाले दिनों में गर्मी बढ़ने के साथ ही इनकी डिमांड और भी बढ़ती जाएगी।
जून मध्य तक बनी रहेगी डिमांड
वैसे जो छाछ, लस्सी को सालभर पिया जाता है। लेकिन गर्मी के दिनों में इसकी डिमांड बहुत ज्यादा बढ़ जाती है। खासतौर से मार्च महीने से इसे रोजाना सेवन करने वाले लोग बढ़ जाते हैं। इसके बाद लगातार इसकी मांग बढ़ती जाती है और गर्मी के दिनों में इसे घरों-घर पिया जाता है। इसी वजह सालभर में मार्च मध्य से जून मध्य तक इन दोनों पेय पदार्थ को सबसे अधिक पिया जाता है।
मिलते हैं ये शारीरिक लाभ
छाछ पीने के कई फायदे होते हैं। इसके सेवन से पेट में ठंडक बनी रहती है, जिससे गर्मी के दिनों में पूरा शरीर ठंडा रहता है। पेट संबंधित समस्याओं को कम करता है। शरीर में पानी की कमी को दूर करता है। केलेस्ट्राल को लेवल में लाता है। इसी तरह लस्सी भी पेट के लिए फायदेमंद होता है। यह एक तरह का परांपरागत एनर्जी ड्रिंक है। इससे शरीर को तत्काल एनर्जी मिलती है साथ ही कई तरह के विटामिन, प्रोटीन व अन्य जरूरी तत्व इससे शरीर को मिलते हैं।
लोकल स्तर पर भी बनने लगे छाछ
छाछ की इतनी डिमांड है कि अब छोटे-छोटे मिल्क पार्लर चलाने वाले भी विशेष रूप से छाछ बना रहे हैं और मांग के अनुसार घर-घर सप्लाई कर रहे हैं। ऐसे में इनके माध्यम से छाछ घरों में पहुंच रहा है और रोजाना इनका सेवन परिवार के सभी सदस्य कर रहे हैं। इससे इस गर्मी में बेहतर हेल्थ बेनिफिट मिल रहा है।